Budiya ka charitra chitran
Character Sketch of the Budiya from lesson Dukh Ka Adhikar
This question is from the lesson - Dukh Ka Adhikar - Sparsh Textbook

उत्तर- भगवाना की बुढ़िया माँ अति निम्नवर्ग की सीधी-सादी, परिवार और पुत्र के प्रति प्रेम और ममता रखने वाली साधारण स्त्री है। अभाव और अंधविश्वासों से घिरे होने के कारण वह भगवाना का इलाज नहीं करवा सकी और ओझा के झाड़-फूँक के चक्कर में फँसकर अपने बेटे को गँवा बैठी । उसके मन में पुत्रवधू और पोता - पोती के लिए अपार स्नेह और ममता है । कर्तव्यनिष्ठा की भावना से वह दूसरे ही दिन बाज़ार में खरबूजे बेचने चली आई । वह लोगों की जली-कटी बातों को चुपचाप आँसू बहाते हुए सुनती रही । बहू की बीमारी की चिंता ने उसे कठिन परिस्थितियों से लड़ने और जूझने की शक्ति प्रदान की । सामाजिक नियमों की रक्षा के लिए उसने हाथों की छन्नी-ककना बेच कर भगवाना को विदा किया । नाग देवता की पूजा कर देवी-देवताओं के प्रति विश्वास जताया परंतु समाज के लोगों ने उसके दुख-दर्द तथा दयनीय स्थिति को नहीं समझा और उसके कर्तव्यबोध की भावना पर ताने कसे ।

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