mujhe samchyabhothak samaj nahee aya kripya samjha dhen
संबंधबोधक अव्यय- जिन अव्यय शब्दों से संज्ञा अथवा सर्वनाम का वाक्य के दूसरे शब्दों के साथ संबंध स्थापित करें वे संबंधबोधक अव्यय कहलाते हैं। जैसे-
1.पेड़ के नीचे चल।
2.मेरे घर के ऊपर टावर है।
3.दक्षिण दिशा की ओर पैर करके मत सोए।
इनमें ‘के नीचे’, ‘के ऊपर’, ‘की ओर’ आदि शब्द संज्ञा अथवा सर्वनाम शब्दों के साथ आकर उनका संबंध वाक्य के दूसरे शब्दों के साथ बता रहे हैं। अतः वे संबंधबोधक अव्यय है।
1.पेड़ के नीचे चल।
2.मेरे घर के ऊपर टावर है।
3.दक्षिण दिशा की ओर पैर करके मत सोए।
इनमें ‘के नीचे’, ‘के ऊपर’, ‘की ओर’ आदि शब्द संज्ञा अथवा सर्वनाम शब्दों के साथ आकर उनका संबंध वाक्य के दूसरे शब्दों के साथ बता रहे हैं। अतः वे संबंधबोधक अव्यय है।